स्थानीय चर्च में हुए विवाद के मामले में गिरफ्तार किए गए तेजस्वी और मिन्हास को अदालत ने जमानत दे दी है। दोनों को सोमवार को न्यायालय में पेश किया गया, जहां बचाव पक्ष ने गिरफ्तारी को गलत बताते हुए तर्क दिए कि आरोप तकनीकी आधार पर लगाए गए हैं और मामले की जांच लगभग पूरी हो चुकी है।
अदालत ने दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद आरोपियों को जमानत प्रदान कर दी। अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि दोनों आरोपियों को जांच में सहयोग करना होगा और बिना अनुमति शहर छोड़ने की इजाजत नहीं होगी।
क्या है मामला?
कुछ दिन पहले जालंधर के एक चर्च में कथित विवाद और कहासुनी के बाद दोनों पक्षों के बीच तनाव बढ़ गया था। इसी दौरान तेजस्वी और मिन्हास के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज हुई थी, जिसके आधार पर उन्हें हिरासत में लिया गया।
पुलिस जांच जारी
पुलिस अधिकारियों के अनुसार मामले से जुड़े कुछ तकनीकी और वीडियो साक्ष्यों की जांच अभी चल रही है। पुलिस ने अदालत को बताया कि अब तक जुटाए गए सबूतों की फॉरेंसिक जांच भी करवाई जा रही है।
अगली सुनवाई 26 को
अदालत ने अगली तारीख 26 निर्धारित की है, जिस पर पुलिस अपनी जांच की प्रगति रिपोर्ट पेश करेगी। इसके साथ ही अदालत यह भी देखेगी कि आरोपियों ने जमानत की शर्तों का पालन किया या नहीं।
स्थानीय समुदाय में चर्चा तेज
चर्च विवाद स्थानीय समुदाय में चर्चा का विषय बना हुआ है। कई सामाजिक संगठनों ने मामले की निष्पक्ष और पारदर्शी जांच की मांग की है।
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